हदें शहर से निकली तो गाँव-गाँव चली,
कुछ यादें मेरे संग पाँव-पाँव चली,
सफर जब धूप का हुआ तब तजुरबा हुआ,
वो जिंदगी ही क्या जो छाँव-छाँव चली!
Hadein shehar se nikli to ganv ganv chali,
Kuch yaadein mere sang panv panv chali,
Safar jab dhoop ka hua tab tajurba hua,
Wo zindagi hi kya jo chanv chanv chali!
परिंदों को मंजिल मिलेगी यकीनन
ये फैले हुए उनके पर बोलते है,
अक्सर वो लोग खामोश रहते है,
ज़माने में जिनके हुनर बोलते है!
Parindon ko manzil milege yakinan,
Ye faile hue unke par bolte hai,
Aksar wo log khamosh rehte hai,
Zamaane mein jinke hunar bolte hai!
हर किसी पे बरसता एक बादल हो जाएगी,मेरा यकीं कर तू मेरे बिना पागल हो…
ज़िंदगी का सफर हम तुम्हारे नाम यूँ ही ना करते,उस रब का इशारा ना होता…
हम तुम्हें किसी भी हाल में खोना नहीं चाहते,तुम्हारी कसम, हम तुम्हारे सिवा किसी और…
कितना चुभने लगा हूँ सबको, मैं छुरा तो नहीं हूँ,जानी, तुम जितना बुरा बताते हो…
जो मना कर दिया है हमें आपने,खुदा कसम, जिंदगी भर तुम्हें इसका मलाल जरूर रहेगा!Jo…
मोटिवेशन (प्रेरणा) एक इंसानी फीलिंग है जो हमे सफलता के रास्ते की तरफ ले जाने…